बच्चों और टीनेजर्स में डायबिटीज़ के लक्षण

डायबिटीज लोगों के लिए जानलेवा बनती जा रही है। यह एक क्रॉनिक कंडीशन है, जो आजकल क्‍या बुजुर्ग क्‍या जवान सभी को प्रभावित कर रही है। टीनएजर्स और 20 साल के आसपास के युवा इस बीमारी की चपेट में ज्‍यादा आ रहे हैं। बता दें कि युवाओं में टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज दोनों देखी जा रही हैं, लेकिन टाइप 2 डायबिटीज जिसे डायबिटीज मेलिटस कहते हैं के लक्षण दिखाई न देने के कारण इसका निदान देर में हो पाता है।

​अमेरिका के रिसर्चर्स ने 2002 से 2017 तक के आंकड़ों का विश्लेषण करते हुए भविष्यवाणी की है कि देश में टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज वाले युवाओं की संख्या 2017 में 213,000 से बढ़कर 2060 में 239,000 हो जाएगी। अगर यहां बताए गए कुछ संकेतों पर जल्‍दी ध्‍यान दिया जाए, तो युवाओं में डायबिटीज को बढ़ने से रोका जा सकता है।

पेशाब और प्‍यास बढ़ना-

अगर एक स्‍वस्‍थ व्‍यक्ति की पेशाब और प्‍यास में वृद्धि होने लगे, तो यह टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज का संकेत है। अचानक से इन लक्षणों का अनुभव करने वाले युवा लोगों को ज्‍यादा सावधान रहने की जरूरत है। क्‍योंकि यह लक्षण हाई ब्‍लड शुगर लेवल का भी संकेत दे सकता है।

अचानक से वजन घटना-

वजन बढ़ना तो सामान्‍य है, लेकिन नियमित भोजन के बाद भी आपका वजन लगातार कम हो रहा है, तो डायबिटीज का रिस्‍क है। इस दौरान डायबिटीज वालों का वजन उम्‍मीद के मुताबिक नहीं बढ़ता ऐसा होना टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज वालों के लिए खतरे की घंटी है।

थकान-

जरूरत से ज्‍यादा थकान होने का मतलब है कि आप डायबिटीज की गिरफ्त में हैं। इस स्थिति में हमारा शरीर ऊर्जा के लिए ग्लूकोज का पर्याप्‍त उपयोग नहीं कर पाता। जिससे थकान हो सकती है। इस लक्षण को पहचानकर जल्‍द ही डायबिटीज को मैनेज किया जा सकता है।

आंखों की रोशनी कमजोर होना-

दृष्टि में परिवर्तन हाई ब्‍लड शुगर लेवल से जोड़कर देखा जाता है। कम उम्र के लोगों के लिए जरूरी है कि वे अपनी दृष्टि में बदलाव के प्रति सचेत रहें और तुरंत टेस्‍ट कराएं। खासतौर से जिन लोगों के पहले से चश्‍मा लगा हुआ है, अगर विजन में कोई प्रॉब्‍लम हो, तो लक्षण को इग्‍नोर न करते हुए आई टेस्‍ट कराना चाहिए।

यहां बताए गए लक्षणों पर ध्‍यान देना जरूरी है। क्‍योंकि 200 से ज्‍यादा होने पर डायबिटीज होने की संभावना बढ़ जाती है। खासतौर से निदान के बाद इसे अनुपचारित छोड़ दिया जाए, तो टाइप 1 डायबिटीज वाले लोगों को डायबिटीज कीटोएसिडोसिस (DKA) होने का खतरा हो सकता है।

मधुमेह कीटोएसिडोसिस क्या है

टाइप 1 डायबिटीज वाले लोग अगर लक्षणों पर ध्‍यान देने से चूक जाएं, तो डायबिटीज कीटोएसिडोसिस का खतरा होता है। यह स्थिति तब होती है जब शरीर ऊर्जा के लिए ग्लूकोज का उपयोग बंद करके फैट को तोड़ना शुरू कर देता है, जिससे कीटोन का प्रोडक्‍शन शुरू हो जाता है। इससे शरीर के पीएच लेवल में खतरनाक रूप से असंतुलन पैदा होने लगता है।

डायबिटीज कीटोएसिडोसिस के लक्षण-

मतली, उल्टी, पेट में दर्द और सांस में एक अजीब गंध डायबिटीज कीटोएसिडोसिस के मुख्‍य लक्षण हैं। इन लक्षणों पर ध्‍यान देना बहुत जरूरी है, क्‍योंकि इसका तुरंत इलाज न किया जाए तो यह जीवन के लिए बड़ा खतरा है।

टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज के बीच अंतर करने और डायबिटीज
 
कीटोएसिडोसिस के विकास को रोकने के लिए समय पर इसकी पहचान करना बेहद जरूरी है। नियमित जांच की मदद से युवाओं में डायबिटीज को मैनेज करने में बहुत मदद मिल सकती है।

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